36 वर्षीय चेन स्मोकर केतक ठाकुर ने लॉकडाउन के दौरान कोरोनावायरस से संक्रमित होने और श्वसन प्रणाली में इन्फ्लामेशन और कॉलैप्स्ड (ध्वस्त) फेफड़ों के कारण मरने के डर से धूम्रपान बंद कर दिया। इस लेख में उन्होंने धूम्रपान छोड़ने के लिए अपनी टिप्स साझा करी हैं।
मैंने 2007 में धूम्रपान करना शुरू किया था। मैं तब अमरीका की यात्रा पर था। एक शाम, मैं एक पार्टी में था और मेरे दोस्तों ने मुझे एक सिगरेट पीने का आग्रह किया और मैं राजी हो गया। मैं धूम्रपान नहीं करना चाहता था, लेकिन चारों ओर जश्न का माहौल था, और मैं उस में रोड़ा नहीं बनाना चाहता था।
Read in English: I Quit Smoking Because Covid-19 Gave Me A Scare
उन दिनों मैं दिल्ली में एक बीपीओ में काम करता था। ऐसे संगठनों में धूम्रपान करने का कलचर काफी प्रचलित है। मैं अक्सर नाईट शिफ्ट पर होता। लंबे समय तक कड़ी मेहनत और बैठे रहने वाली (सेडेंट्री) जॉब्स थकाऊ होती हैं, और परिणामस्वरूप मुझे अकसर बदन और सिर में दर्द होता था। ब्रेक के दौरान, बहुत से लोग ताजी हवा और फटाफट एक सिगरेट पीने के लिए बाहर कदम रखते थे। अमेरिका से लौटने के बाद मैं भी अपने साथियों के साथ सिगरेट पीने लगा।
जैसे कि अकसर होता है, यह सिलसिला बस कुछ कश के साथ शुरू हुआ, फिर दो या तीन सिगरेट तक बढ़ा। और इससे पहले कि मैं जान पाता, मैं एक दिन में 20 से अधिक सिगरेट पी रहा था और एक आदत से मजबूर चेनस्मोकर बन गया था। अब मैं बात-बे-बात, किसी भी बहाने सिगरेट सुलगा लेता - सुबह उठते ही, शौचालय जाने से पहले, अखबार पढ़ते समय, चाय के साथ, ऑफिस आने-जाने के समय, क्लाइंट मीटिंग के दौरान, दोस्तों के साथ, सोने से पहले। सच तो यह है कि मुझे किसी बहाने की आवश्यकता नहीं होती। मैं बस सिगरेट निकालता, उसे जलाता और गहरी कश लेता।
मैंने धूम्रपान छोड़ने के कई प्रयास किए - कम से कम 10-15 बार। एक बार मैं एक हफ्ते के लिए धूम्रपान रोक भी पाया था। मैं उन सात दिनों में बहुत ही ज्यादा दुखी रहा। मुझे लगा कि मेरी जिंदगी ठहर सी गई है। सब समाप्त हो चुका है। यदि मैं धूम्रपान नहीं कर रहा हूँ तो मेरे जीवन में कुछ भी नहीं हो रहा है। छह दिनों के बाद मुझे लगा कि मैं इतना कष्ट क्यों उठाऊँ! इसलिए मैं फिर से धूम्रपान करने लगा।
2010 में मैंने अपनी बीपीओ की नौकरी छोड़ दी और अपना वेडिंग प्लानर बिजनेस शुरू किया। इस से मुझ पर अतिरिक्त तनाव और जिम्मेदारियां आईं। व्यवसाय के प्रमुख के रूप में, मुझ से मेल-जोल, पार्टियां, शादी के रस्म, रिसेप्शन इत्यादि में भाग लेने की और देर रात तक ऐसे काम करने की अधिक उम्मीद की जाती थी। ऐसे माहौल धूम्रपान करने के लिए अधिक प्रेरित करता है।
2017 में मुझे अपनी पहली सिगरेट जलाए 10 साल हो चुके थे। मैं तब 34 साल का था और शादी करने जा रहा था। जीवन साथी मिलने की संभावना ने मुझे खुशी तो दी थी, लेकिन मैं चिंतित भी था। मुझे लगा कि मेरा स्वास्थ्य धीरे-धीरे खराब हो रहा है और मैं अच्छी शारीरिक स्थिति में नहीं हूं। मुझे सांस लेने में समस्या होने लगी थी, और मैं आसानी से थक जाता था। मैं पहले रोज सुबह टहलने जाया करता था और आराम से पांच किलोमीटर की दूरी तय कर लेता था, लेकिन अब मुझे आधे रास्ते ही सांस लेने में तकलीफ होने लगी थी। मुझे लगा कि मेरी त्वचा की रौनक कम हो गई है। मुझे रात को ठीक से नींद नहीं आ रही थी और मुझे बार-बार एसिडिटी होने लगी थी। हर सुबह मैं गले में हल्की खुजली के साथ उठता। मुझे लगा कि मैं अपने व्यवसाय में ठीक से योगदान नहीं कर पा रहा हूँ।
हम जानते हैं कि सिगरेट पीना हानिकारक है, हम इसे छोड़ना चाहते हैं, लेकिन हम इसके गुलाम बन जाते हैं। हम पूरी तरह से इस पर निर्भर हो जाते हैं। हर बार मैं इसे छोड़ने की कोशिश करता पर देखता कि यह और अधिक कठिन होता जा रहा है।
महत्वपूर्ण दिन
16 मार्च, 2020 का दिन था। मैं एक कार्यक्रम से घर लौटा, और मुझे एहसास हुआ कि घर पर सिगरेट का पैक नहीं है। देर रात हो चुकी थी और सभी दुकानें बंद थीं। मैंने सोचा कि मैं इसे अगली सुबह खरीद लूंगा। इस बीच कोरोना वायरस की खबर फैलने लगी थी। हमारे फोन पर इस घातक संक्रमण के संदेश बार बार आ रहे थे। जब मैंने अपना मोबाइल चेक किया, तो मैंने एक चीन के डॉक्टर का मेसेज देखा जिस में डॉक्टर ने बताया कि कोविड क्यों हो रहा था और सुरक्षित रहने के लिए क्या सावधानियां बरतनी चाहिए। डॉक्टर एक बात दोहराते रहे कि यह मुख्य रूप से फेफड़ों की बीमारी है और यदि आप धूम्रपान करते हैं तो आप उच्च जोखिम श्रेणी में हैं। धूम्रपान करने वालों में कोविड-19 होने का खतरा ज्यादा है क्योंकि धूम्रपान से फेफड़े और गले के वायरल संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है - धूम्रपान प्रतिरक्षक क्षमता दबाता है और शरीर में बीमारियों से लड़ने की क्षमता को कम कर देता है।
चीन के डॉक्टर के संदेश ने मुझे जोर का धक्का दिया। जब मैं मोबाइल के नोटिफिकेशन को नीचे स्क्रॉल कर रहा था तो मुझे बेहद पसीना आने लगा। मुझे मालूम था कि मेरा स्वास्थ्य कोई ख़ास ठीक नहीं था। मुझे सांस की समस्या थी। मैं ठीक से सांस नहीं ले पाता था। मैं बिना सांस फूले जोर लगाने वाला कोई काम नहीं कर पाता था। अगर मैं संक्रमित हो गया तो मेरे लिए जीवित रहना मुश्किल होगा।
मृत्यु के विचार ने मुझे भयभीत कर दिया। मैं इतनी छोटी उम्र में नहीं मरना चाहता था। मेरे आगे मेरा पूरा जीवन था। मैं अपने करीबी लोगों, अपने माता-पिता, पत्नी, भाई और खासकर अपने एक साल के बेटे शिवाय को खोना नहीं चाहता था। अगर मुझे कुछ हो गया तो उसकी देखभाल कौन करेगा। मुझे उसके साथ खेलने का मौका नहीं मिलेगा। ऐसी संभावनाओं ने मुझे परेशान कर दिया।
लॉकडाउन के दौरान लत से छुटकारा
मैंने खुद से कहा- कुछ भी हो जाए मुझे स्मोकिंग छोड़नी ही होगी। और जल्दी छोड़नी होगी। यही सबसे अच्छा मौका है। सिगरेट की दुकानें बंद हैं, मैं दोस्तों से नहीं मिल सकता, कोई पार्टियां नहीं हो रही है, किसी क्लाइंट से नहीं मिलना है। मुझे धूम्रपान करने की कोई जरूरत नहीं है। चलो यह कोशिश करता हूँ। एक महीने का लॉकडाउन है। मुझे एहसास हुआ कि यह सिगरेट छोड़ने का सबसे अच्छा मौका था। मुझे ऐसा मौका फिर नहीं मिलेगा। लॉकडाउन का मतलब है ज्यादातर समय परिवार और प्रियजनों के साथ बिताना। इन सब विचारों से मुझे इस आदत को ठोकर मारने के लिए हिम्मत और ताकत मिली।
मेरे छोड़ने के बाद के पहले 15-20 दिन ख़ासा बुरे गुज़ारे, पर मैं इन्हें अत्याधिक कष्टदायी भी नहीं कहूंगा। मुझे गंभीर विड्रॉअल सिम्पटम (सिगरेट बंद करने के कारण होने वाली तक़लीफ़ें) नहीं हुए - हालांकि बहुत चिड़चिड़ापन और बेचैनी महसूस हुई। और अपच और गैस की समस्याएं। मुझे गले में हल्का संक्रमण भी हुआ जिससे मैं चिंतित हो गया था। मुझे डर था कि यह कहीं कोरोना से संबंधित नहीं! हो सकता है कि कोरोनावायरस से संक्रमित होने के डर ने मेरी सिगरेट पीने की लालसा को दबा दिया।
स्मोकिंग बंद करते समय और बातों में ध्यान बांटना
मैंने अपना पूरा ध्यान अपने परिवार, भोजन और पानी की खपत पर केंद्रित कर दिया। उन शुरुआती दिनों में, भावनात्मक और मनोवैज्ञानिक रूप से मेरा परिवार भी मेरा बहुत बड़ा सहारा था। जब भी वे मुझे बेचैन देखते थे, वे आकर मुझसे बातें करते थे और मेरा ध्यान दूसरी तरह ले जाते थे। स्मोकिंग से ध्यान हटाने में मेरा बेटा मेरा सबसे सुखद साधन था और मुझे लंबे समय तक अपने खेल और हरकतों में व्यस्त रखता था।
मेरी पत्नी मेरे लिए मेरे सभी पसंदीदा व्यंजन बनाती थी ताकि मैं खुश और तृप्त रहूँ। अत्यधिक धूम्रपान के कारण मेरे स्वाद की अनुभूति थोड़ी कम हो गई थी, लेकिन अब मैं हर भोजन का स्वाद ले रहा था। पहले मैं अच्छे भोजन का आनंद लिया करता था, लेकिन जब से मैंने धूम्रपान करना शुरू किया, तब से मेरी खाने में रुचि कम हो गई थी। मैं बहुत सारे फल, विशेष रूप से सेब, पपीता और केला खाने लगा। साथ ही मैं 6-7 कप ग्रीन और रेगुलर चाय पीता था। इसने मुझे सिगरेट पीना के बजाय कुछ और पाने का विकल्प प्रदान किया।
मेरे भाई और मां ने भी मेरा भरपूर समर्थन किया। मेरा भाई रोज़ इस बुद्धिमान निर्णय के लिए मेरी प्रशंसा करता था और यह भी देखता रहता कि क्या मैं धूम्रपान के लिए बाहर निकल रहा हूँ। मेरी मां ने मुझे योग और अन्य व्यायाम शुरू करने के लिए प्रोत्साहित किया जिससे मुझे अपनी सहनशक्ति और सांस लेने की क्षमता ठीक करने में मदद मिली।
मैं पूरे मन से अपने काम में भी लगा रहा और लॉकडाउन में इस को धीमा नहीं होने दिया। एक वेडिंग प्लानर होने के नाते, मैंने अलग-अलग डिजाइनों पर काम करता, और अपनी टीम के साथ रचनात्मक विचारों का विकास करता।
कुछ दिन मैं नेटफ्लिक्स पर किसी सीरीज की लगातार बिंज वाचिंग भी करता! इरादा यह है कि अपने आप को हर पल किसी ऐसी चीज़ से जोड़े रखूँ जो मुझे पसंद हो।
लत से छुटकारे के बाद नया जीवन
छोड़ने के बाद, आपको एहसास होता है कि आपको एक नया जीवन मिला है। मैं बेहतर महसूस कर रहा हूं, मैं अच्छी तरह सो सकता हूं। मैं खाने का स्वाद बेहतर तरह से ले सकता हूं। मैं अपनी चारों तरफ की खुशबुओं को बेहतर सूंघ पाता हूँ। सिगरेट छोड़ने के बाद मेरा स्वास्थ्य उत्तम हो गया है। मैं रोज टहलने जाता हूं। मैं बिना सांस में किसी तकलीफ के 5-7 किमी चल पाता हूं। कोई घबराहट या चिंता नहीं है। दिमाग बेहतर काम करता है। अब मैं पढ़ने, सोचने, प्लानिंग में समय लगा सकता हूं। मेरे व्यवसाय में, आपको रचनात्मक क्षेत्र में सबसे ऊपर रहना होता है।
सौभाग्य से, हालांकि मैंने रातों रात धूम्रपान पूरे तरह छोड़ा था, मुझे कोई तीव्र विड्रॉअल सिम्पटम नहीं हुए थे। हो सकता है कि मैंने इसका मुकाबला करने के लिए अच्छे तरीके बना लिए थे। मुझे लॉकडाउन के कारण लंबे समय तक घर पर रहने का सौभाग्य भी मिला, जिस से आदत से छुटकारा पाने में सुविधा हुई।
धूम्रपान की आदत से छुटकारा पाने के लिए कुछ टिप्स
- फलों का सेवन बढ़ाएं। जब भी धूम्रपान करने की तीव्र इच्छा हो तो एक फल खाएं। मुझे लगता है कि फल खाने से मुंह का स्वाद बदल जाता है, और यह सिगरेट की हुड़क को मार देता है। अगर आप एक सेब खाते हैं, तो आपका धूम्रपान करने का बिल्कुल भी मन नहीं करता है।
- खूब सारा पानी पियें।
- किताबें पढ़ने और फिल्म देखने जैसी गतिविधियों में खुद को व्यस्त रखें।
- परिवार के साथ व्यस्त रहें। वे एक बड़ा समर्थन का स्रोत हो सकता है।
- अंत में, सकारात्मक सोच रखें। यह आपके दिमाग को हिम्मत और हौसला देता है।